Header Ads



Dainik Bhaskar एक ही दिन की बारिश में शिप्रा लबालब, बड़ा पुल, किनारे के मंदिर और सड़कें डूबीं; देशभर में विधि-विधान से विराजे बप्पा

दो दिन तक लगातार बारिश ने भले ही 12 घंटे में गंभीर डेम को लबालब कर दिया लेकिन निचली बस्तियों और कॉलोनियों के रहवासियों के लिए यह बारिश मुसीबत बन कर टूटी। जल निकासी सिस्टम पूरी तरह फेल साबित हुआ।

कई जगह गटरों का पानी घरों में घुस जाने से लोग हलाकान हो गए। इस बीच बिजली ने भी कई बार धोखा दिया। शिप्रा पांच साल बाद रौद्र रूप में दिखाई दी। बाढ़ में बड़ा पुल भी आने से बड़नगर रोड बंद रहा। उफनाती शिप्रा किनारे की बस्तियों के लोगों को राहत शिविरों में पहुंचाना पड़ा।

लगातार बारिश से भोपाल जलमग्न

लगातार दो दिन से हो रही बारिश के कारण कलियासोत डेम के गेट खोलने पड़े। इस कारण भोपाल की बस्तियां जलमग्न हो गईं। लोगों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ा। इस दौरान लोग इस तरह अपना सामान बचाते नजर आए।

बारिश: गणेश जी को लोग छतरी लगाकर ले गए

गणेश चतुर्थी पर शनिवार को घर-घर श्रीगणेश विराजे। हालांकि कोरोना के चलते शहर के छोटे-बड़े मिलाकर 100 से ज्यादा सार्वजनिक पांडालों में गणेश प्रतिमा स्थापित नहीं की जा सकी। दूसरी तरफ लोगों ने घरों में गणेश प्रतिमा स्थापित की। शुक्रवार रात से चल रही बारिश शनिवार दिनभर भी हुई। मगर बाजार से प्रतिमाएं लाने का लोगों का उत्साह फीका नहीं पड़ा। भरी बारिश में भक्त वाहनों व छतरी में प्रतिमा लाए। शुभ मुहूर्त देखकर विधिवत स्थापना की।

गणेश ध्वनि के बीच मूर्ति स्थापित

लॉकडाउन के कारण इस बार देशभर में कहीं भी बड़े स्तर पर गणेश चतुर्थी नहीं मनाई जा रही है। जहां पिछले साल तक बड़े स्तर पर आयोजन होता था, वहां इस बार छोटे कार्यक्रम रखे गए हैं। कोरोना के कारण इस बार गणेश की मूर्ति का विसर्जन भी एक दो दिन के अंदर ही करना शुरू किया जाएगा। वहीं चतुर्थी को लेकर घर-घर में भी गणेश की मूर्ति की स्थापना की गई है। यह फोटो पिंजौर के सेक्टर-19 के एक घर की है। यहां पर गणेश ध्वनि के बीच मूर्ति स्थापित की गई।

हे विघ्नहर्ता, अब बचाओ

कड़ी धूप में हाथों में माला-प्रसाद। आंखों में आंसू। होठों पर पुकार-हे देवा! क्या चूक हुई जो भक्तों के लिए सारे दरवाजे बंद हो गए। कहां जाएं? किसे पुकारे? हे विघ्नहर्ता, अब बचाओ। जूनागढ़ के दरवाजे पर खड़े भक्त ही नहीं बीकानेर के हर गणपति मंदिर के बाहर कुछ ऐसा ही दृश्य रहा। घरों में पूजन हुआ तब भी भगवान से प्रार्थना हुई-हे मंगलमूर्ति, अब अमंगल दूर करो। सुख-चैन बरसाओ।

कोविड-19 प्रतिबंधों के बीच गणेशोत्सव शुरू

कोरोना वायरस प्रकोप के बीच गणेश चतुर्थी के 10 दिवसीय उत्सव की आज से शुरुआत हुई। इस अवसर पर आज नई दिल्ली के द्वारका में श्री सिद्धिविनायक मंदिर सहित दिल्ली के कई हिस्सों में भगवान गणेश की भव्य ‘आरती’ की गई। इसके अलावा पुजारियों ने दिल्ली के कनॉट प्लेस में गणेश मंदिर में भी आरती की। इस अवसर पर मंदिरों और गणपति की मूर्तियों को खूबसूरती से सजाया गया है।

25 को है श्री गुरु नानक देव जी का विवाह पर्व

श्री गुरु नानक देव जी के विवाह पर्व को लेकर गुरुद्वारा श्री कंध साहिब और गुरुद्वारा श्री डेहरा साहिब को रंग-बिरंगी लाइटों से सजाया गया है। आज 23 अगस्त को सुबह गुरुद्वारा श्री कंध साहिब में श्री अखंड पाठ साहिब शुरू होंगे। दूसरी ओर गुरुद्वारा श्री कंध साहिब में विवाह पर्व को समर्पित 10 क्विंटल भाजी तैयार की गई है। एसडीएम बलविंदर सिंह ने बताया कि कोरोना के चलते 25 अगस्त को बटाला उप मंडल की हद में नगर कीर्तन और लंगर लगाने की मनाही रहेगी।

लॉकडाउन में 7 हजार लोगों तक ऐसे पहुंचाया पैसा

फोटो ओडिश के कोरापुट जिले की सलोमी शशंकर की है। वे स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई) का किओस्क चलाती हैं, जो कमीशन आधारित प्राइवेट कस्टमर सर्विस देती हैं। लेकिन सलोमी बाकी किओस्क चलाने वालों से अलग हैं। वे अपने टू-व्हीलर से खुद ग्राहकों तक पहुंच रही हैं। संक्रमण काल में उन्होंने पिछले करीब पांच माह में 7 हजार से ज्यादा लोगों तक खुद जाकर पैसा पहुंचाया है।

टोयापुर गांव में रहने वाली सलोमी सुबह 8 बजे घर से निकलती हैं और शाम 5 बजे तक आसपास के 9 गांवों में अपनी सेवाएं देती हैं। इन गांवों में इंटरनेट की समस्या है इसलिए सड़क किनारे, खेतों की मेड़ पर जहां नेटवर्क मिलता है वहीं बैठकर काम शुरू कर देती हैं।

सबसे बड़ा राक्षस कोरोना

कोरोना के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए जयपुर के चेहरे अल्बर्ट हॉल पर भी लगाया फेस मास्क ताकि लोग जागरूक होकर बचाव के लिए अपने चेहरे पर लगाएं हमेशा मास्क।

एक ही पहाड़ी पर हैं 77 जैन मंदिर

फोटो ग्वालियर से करीब 60 किमी दूर दतिया जिले में स्थित अंचल के सबसे बड़े जैन तीर्थ सोनागिर की है। यहां एक ही पहाड़ी पर 9वीं और 10वीं शताब्दी के 77 मंदिर हैं। बारिश में जब पहाड़ी ने हरियाली ओढ़ी तो संगमरमर के मंदिरों के शिखर मोती जैसे दमक उठे। सोनागिर ऐसा पहला तीर्थ है, जहां पहाड़ी पर 77 और गांव में 26 जैन मंदिर हैं।

मान्यता है कि यहां साढ़े पांच करोड़ मुनिराजों-संतों ने मोक्ष को प्राप्त किया है। यहां अनंग कुमार ने मोक्ष प्राप्त करके जन्म-मरण के चक्र से मुक्ति पाई थी। यहां 57 नंबर का मुख्य मंदिर चंद्रप्रभ भगवान की मूलनायक प्रतिमा से युक्त है, जो 17 फीट ऊंची है। यह क्षेत्र 132 एकड़ की 2 पहाड़ियों से जुड़ा हुआ है।

दिनभर में 25 एमएम बारिश

फोटो धनबाद जिले के कतरास की है। आसमान में काले बादल मंडराए। शाम 5:30 बजे ही रात सा नजारा बन गया। शनिवार को बारिश का सिलसिला जारी रहा। दिनभर में 25 एमएम बारिश हुई। शनिवार को जोरदार थंडरिंग में माथाडीह दास टोला ऊपरधौड़ा में एक ही परिवार की एक महिला समेत तीन लोग जख्मी हो गए।



आज की ताज़ा ख़बरें पढ़ने के लिए दैनिक भास्कर ऍप डाउनलोड करें
The same day's rain submerged Shipra, the big bridge, the shores of the shore and the roads; Bappa jiray across the country


from Dainik Bhaskar /local/delhi-ncr/news/the-same-days-rain-submerged-shipra-the-big-bridge-the-shores-of-the-shore-and-the-roads-bappa-jiray-across-the-country-127643320.html

No comments

If any suggestion about my Blog and Blog contented then Please message me..... I want to improve my Blog contented . Jay Hind ....

Powered by Blogger.